देहरादून। उत्तराखंड का अगला मुख्यमंत्री कौन होगा इस पर भाजपा हाईकमान 20 मार्च तक मुहर लगा सकती है। हाईकमान ने भाजपा के सभी निर्वाचित विधायकों को होली के बाद देहरादून में रहने की सख्त हिदायत दी है। विधानसभा चुनाव 2022 में प्रचंड बहुमत के बाद भी हाईकमान ने नेता सदन की चयन प्रक्रिया अभी तक शुरू नहीं की है।
समझा जा रहा है कि 17 मार्च तक होलाष्टक होना इसका मुख्य कारण है। मुख्यमंत्री चयन के लिए भाजपा हाईकमान भी काफी सतर्क है ताकि पिछली बार की तरह तीन-तीन मुख्यमंत्री बदलने जैसी स्थितियों न पैदा हो। ऐसे में हाईकमान सभी विकल्पों पर गहनता से विचार कर रही है। उत्तराखंड में अगला मुख्यमंत्री कौन होगा इस पर भाजपा के केंद्रीय नेतृत्व के पास तीन-तीन विकल्प हैं। राजनैतिक सूत्रों की मानें तो पहला विकल्प कार्यवाहक सीएम पुष्कर सिंह धामी को रिपीट करने का होगा। तो दूसरे विकल्प के तौर पर भाजपा निर्वाचित विधायकों में से ही किसी विधायक को उत्तराखंड का अगला मुख्यमंत्री बना सकते हैं। जबकि, तीसरे विकल्प की बात करें तो भाजपा विधायकों से बाहर किसी सांसद को मुख्यमंत्री पद की जिम्मेदारी भी सौंप सकती है। उत्तराखंड के अगले मुख्यमंत्री के तौर पर विधायकों के बीच जमकर दौड़ चल रही है। लोकसभा चुनाव में बेहतर प्रदर्शन करने वाले सांसद भी रेस में शामिल हैं। राजनैतिक सूत्रों की बात मानें तो सतपाल महाराज, धन सिंह रावत दौड़ में प्रबल दावेदार माने जा रहे हैं। इसी के साथ ही भाजपा प्रदेश अध्यक्ष मदन कौशिक का नाम भी उछल रहा है। जबकि, सांसदों में पूर्व सीएम डा. रमेश पोखरियाल निशंक, केंद्रीय राज्यमंत्री अजय भट्ट और सांसद अनिल बलूनी के नामों पर कयासबाजी हो रही है। लेकिन, मुख्यमंत्री पद पर आखिरी फैसला भाजपा हाईकमान ही लेगी।