Breaking उत्तराखण्ड

प्रदेश में 4483 उद्योगों को अनुमति दी गई, इनमें लगभग 85 हजार कार्मिक कार्य करेंगेः सीएस

अभी तक 5669 बाहर फंसे लोगों को उत्तराखण्ड लाया गया

देहरादून। मुख्य सचिव उत्पल कुमार सिंह ने मीडिया ब्रींफग करते हुए प्रदेश में कोविड-19 की अद्यतन स्थिति, लॉकडाउन के दौरान प्रदेश में कोविड-19 के दृष्टिगत विकसित स्वास्थ्य अवस्थापना सुविधाओं, केंद्र सरकार की गाईडलाईन के तहत दूसरे राज्यों से लाए गए उत्तराखण्ड के लोगों के बारे में जानकारी दी। मुख्य सचिव ने बताया कि राज्य में अभी तक 61 कोराना पॉजिटीव केस रिपोर्ट किए गए हैं। इनमें से 39 लोग ठीक होकर घर जा चुके हैं। इस प्रकार वर्तमान में एक्टीव केस 21 हैं। हमारी डबलिंग रेट लगभग 40 दिन है। प्रदेश में रिकवरी दर 65 प्रतिशत है। इस हिसाब से उत्तराखण्ड देश के अग्रणी राज्यों में है। मार्च में हमारे यहां कोरोना संक्रमण की टेस्टिंग सुविधा नहीं थी। अब राज्य में 4 टेस्टिंग लेब हैं। इनकी प्रतिदिन टेस्टिंग क्षमता 500 के करीब है। मुख्य सचिव ने बताया कि इमरजेंसी सेवा 108 का रेस्पांस टाईम, ग्रामीण क्षेत्रों में पिछले एक वर्ष में 32 मिनिट से घटकर 27 मिनिट और शहरी क्षेत्रों में 25 मिनिट से घटकर 15 मिनिट हो गया है। अर्थात हमारी 108 सेवा में सुधार हुआ है।
आज मुख्यमंत्री जी द्वारा बहुत से सरकारी अस्पतालों व जिला अस्पतालों में आईसीयू बेड, वेंटिलेटर व ऑक्सीजन सप्लाई के लिए जरूरी बाईपेप मशीन की सुविधा शुरू की गई है। इनमें मेला अस्पताल, हरिद्वार में 10 आईसीयू बेड, 03 वेंटिलेटर व 4 बाईपेप, कम्बाईंड अस्पताल रूड़की में 10 आईसीयू बेड, 01 वेंटिलेटर, 02 बाईपेप, बीडी पाण्डे अस्पताल,नैनीताल में 04 आईसीयू बेड, 01 वेंटिलेटर, 01 बाईपेप, माधव आश्रम अस्पताल, रूद्रप्रयाग में 06 आईसीयू बेड, 04 वेंटिलेटर, 02 बाईपेप, जिला अस्पताल, चमोली में 06 आईसीयू बेड, 03 वेंटिलेटर, 05 बाईपेप, जिला अस्पताल चम्पावत में 06 आईसीयू बेड, 03 वेंटिलेटर, 02 बाईपेप, जिला अस्पताल पिथौरागढ़ में 06 आईसीयू बेड, 03 वेंटिलेटर 01 बाईपेप, जिला अस्पताल पौड़ी में 04 आईसीयू बेड, 01 वेंटिलेटर, 01 बाईपेप, जिला अस्पताल उत्तरकाशी में 10 आईसीयू बेड, 03 वेंटिलेटर, 01 बाईपेप, और दून मेडिकल कॉलेज में 30 आईसीयू बेड जोड़े गए हैं। मुख्य सचिव ने कहा कि लॉक डाउन के सख्ती से पालन करने से हम प्रदेश में कोरोना संक्रमण को नियंत्रित करने में सफल रहे। इस दौरान हमने प्रदेश में स्वास्थ्यगत अवस्थापनात्मक सुविधाएं भी विकसित की। लॉकडाउन के दो चरणों में आम जन का काफी सहयोग रहा है। लॉकडाउन 3 में केंद्र सरकार की गाईडलाईन के अनुरूप कई प्रकार की छूट दी गईं। कुछ स्थानों पर भीड़ दिखाई दी। आम जन से निवेदन है कि ये छूटें बनी रहें, इसके लिए जरूरी है कि जो संयम और धैर्य लॉकडाउन के पहले दो चरणों में बनाए रखा, उसे कायम रखें। दूसरों से आवश्यक डिस्टेंस रखें, अनावश्यक भीड़ भाड़ न करें। सरकार ये व्यवस्था बनाए रखना चाहती है। परंतु इसके लिए लोगों को भी सहयोग करना होगा। मुख्य सचिव ने बताया कि प्रदेश में 4483 उद्योगों को अनुमति दी गई है। इनमें लगभग 85 हजार कार्मिक कार्य करेंगे। तमाम तरह की सावधानियां बरतते हुए बहुत से उद्योगों ने काम भी शुरू कर दिया है। पर्वतीय जिलों में भी बहुत से उद्योगों को अनुमति दी गई। कन्टीन्यूस प्रोसेस वाले उद्योगों के लिए सोशल डिस्टेंसिंग के मानकों को पूरा करने की शर्तों के साथ 12-12 घंटे की शिफ्ट की अनुमति दी गई है।

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